अमेरिका में यात्रा प्रतिबंधों को लेकर नई नीति की तैयारी
अमेरिका में यात्रा प्रतिबंधों को लेकर एक नई नीति की तैयारी की जा रही है, जिसमें 30 से अधिक देशों को शामिल किया जा सकता है। गृह सुरक्षा सचिव क्रिस्टी नोएम ने इस संबंध में जानकारी दी है, हालांकि उन्होंने सटीक देशों के नाम का खुलासा नहीं किया। जून 2025 में जारी एग्ज़िक्यूटिव ऑर्डर के तहत पहले से ही 19 देशों पर प्रतिबंध था। इस नई नीति का उद्देश्य सुरक्षा चिंताओं को ध्यान में रखते हुए उन देशों पर ध्यान केंद्रित करना है जिनकी सरकारें स्थिर नहीं हैं। जानें इस नीति का वैश्विक आवाजाही पर क्या प्रभाव पड़ेगा।
| Dec 5, 2025, 19:05 IST
अमेरिका में यात्रा प्रतिबंधों का कड़ा रुख
अमेरिका में यात्रा प्रतिबंधों को लेकर एक बार फिर सख्त कदम उठाने की योजना बनाई जा रही है। गृह सुरक्षा सचिव क्रिस्टी नोएम ने जानकारी दी है कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का प्रशासन वर्तमान में 19 देशों की सूची को बढ़ाकर 30 से अधिक देशों तक ले जाने की तैयारी कर रहा है। हालांकि, नोएम ने देशों के नाम और सटीक संख्या का खुलासा नहीं किया, लेकिन यह स्पष्ट किया कि सूची 30 से अधिक देशों तक जाएगी और राष्ट्रपति इसकी लगातार समीक्षा कर रहे हैं।
नए प्रतिबंधों का कारण
जून 2025 में जारी किए गए एग्ज़िक्यूटिव ऑर्डर के तहत अफ्रीका, मध्य पूर्व और कैरेबियन के 19 देशों से अमेरिका में प्रवेश पर रोक लगाई गई थी। इन देशों में वेटिंग क्षमता की कमी, वीज़ा ओवरस्टे और 'वापस आने' में जटिलताओं को मुख्य कारण माना गया था। अब प्रशासन इस नीति को और सख्त करने की योजना बना रहा है, जिसमें उन देशों पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है जिनकी सरकारें स्थिर नहीं मानी जातीं और जो यात्रियों की पहचान और सुरक्षा जांच में सक्षम नहीं हैं।
सुरक्षा चिंताएँ और प्रशासन की प्रतिक्रिया
यह उल्लेखनीय है कि 26 नवंबर 2025 को व्हाइट हाउस के पास हुई गोलीबारी में एक नेशनल गार्ड सदस्य की मौत और दूसरे के घायल होने के बाद सुरक्षा एजेंसियों पर दबाव बढ़ गया है। रिपोर्टों के अनुसार, हमलावर अफगान मूल का था, जो 2021 में अमेरिका आया और उसे अप्रैल 2025 में शरण दी गई थी। इस घटना ने ट्रंप प्रशासन को पिछले वेटिंग ढांचे और सुरक्षित प्रवेश नीति की पुनः जांच करने के लिए प्रेरित किया है।
नोएम के विवादास्पद बयान
हाल ही में, नोएम ने कुछ देशों से आने वालों को “हत्यारे, जोंक और जंक” कहकर कठोर शब्दों का इस्तेमाल किया, जिससे घरेलू और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर आलोचना हुई। फिर भी, प्रशासन की समीक्षा प्रक्रिया जारी है और राष्ट्रपति ने संकेत दिए हैं कि “तीसरी दुनिया के देशों” के लिए स्थायी प्रतिबंध भी विचाराधीन हैं।
भविष्य की नीति और वैश्विक प्रभाव
फिलहाल, व्हाइट हाउस या गृह सुरक्षा विभाग ने सूची जारी करने की तारीख और विस्तृत मानदंड साझा नहीं किए हैं, लेकिन अधिकारियों का मानना है कि यह कदम सीमा सुरक्षा, प्रवास नियंत्रण और राष्ट्रीय सुरक्षा रणनीति के अगले चरण का संकेत है। नीति का स्वरूप क्या होगा, यह अभी स्पष्ट नहीं है, लेकिन वैश्विक आवाजाही पर इसका गहरा प्रभाव पड़ने की आशंका पहले ही जताई जा चुकी है और अंतरराष्ट्रीय समुदाय इस पर नज़र रखे हुए है।
