ईरान और अमेरिका के बीच बढ़ता तनाव: ट्रंप की चेतावनी
ईरान पर अमेरिकी हमले के बाद की स्थिति
अमेरिका द्वारा ईरान की तीन परमाणु स्थलों पर हमले के बाद दोनों देशों के बीच शब्दों की जंग तेज हो गई है। ईरान के सर्वोच्च नेता अयातुल्ला अली खामेनेई ने तुरंत प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि अमेरिका को अब पहले से कहीं अधिक नुकसान उठाना पड़ेगा। उन्होंने सरकारी टेलीविज़न पर अपने संदेश में स्पष्ट किया कि अमेरिका की कार्रवाई को ईरान गंभीर अपराध मानता है। खामेनेई ने कहा कि अमेरिका ने क्षेत्रीय सीमाओं का उल्लंघन किया है और अब पश्चिम एशिया में हर अमेरिकी नागरिक और सैनिक खतरे में हैं। ईरानी चैनल ने यह भी दावा किया कि क्षेत्र में मौजूद अमेरिकी ठिकाने अब ईरानी रडार पर हैं।ट्रंप का सख्त संदेश: जवाबी कार्रवाई की चेतावनी
खामेनेई की चेतावनी के जवाब में, अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने सोशल मीडिया पर एक सख्त संदेश साझा किया। उन्होंने ईरान को चेतावनी दी कि यदि कोई जवाबी कार्रवाई हुई, तो अमेरिका उसका जवाब और भी अधिक ताकत से देगा। ट्रंप ने कहा, "अगर ईरान ने कोई जवाबी हमला किया, तो उसे इस रात की तुलना में कहीं बड़ा और शक्तिशाली जवाब मिलेगा।" उन्होंने ईरान को मध्य पूर्व का "धमकी देने वाला देश" करार दिया और कहा कि अगर तेहरान शांति की ओर नहीं बढ़ता, तो अमेरिकी हमले और भी गंभीर हो सकते हैं।
परमाणु स्थलों पर अमेरिकी हमले का विवरण
ट्रंप के अनुसार, अमेरिकी सेना ने ईरान के फोर्डो, नतांज़ और इस्फ़हान में स्थित परमाणु केंद्रों को सफलतापूर्वक निशाना बनाया। यह पहली बार है जब अमेरिका ने इस संघर्ष में खुलकर सैन्य हस्तक्षेप किया है। ट्रंप ने कहा कि सबसे अधिक हमला फोर्डो साइट पर किया गया, जहां भारी बमबारी की गई। उन्होंने यह भी कहा कि ईरान पिछले चार दशकों से अमेरिका और उसके सहयोगी देशों के खिलाफ हिंसक गतिविधियों में शामिल रहा है, जिसमें सड़क किनारे बम, आत्मघाती हमले और अमेरिकी सैनिकों को नुकसान पहुँचाने वाली रणनीतियाँ शामिल हैं। ट्रंप ने इस हमले को उस लंबे समय से जारी चुनौती का जवाब बताया।