तेजप्रताप यादव का सपा कार्यालय दौरा: क्या है बिहार की राजनीति में नया मोड़?

तेजप्रताप यादव का सपा कार्यालय दौरा
Tej Pratap Yadav SP Office: राजद से निष्कासन के बाद तेजप्रताप यादव की गतिविधियों ने एक बार फिर से राजनीतिक चर्चा को जन्म दिया है। बुधवार को, वे अचानक पटना के पुनाईचक में समाजवादी पार्टी के कार्यालय पहुंचे, जिससे बिहार की राजनीतिक स्थिति में हलचल मच गई। सपा कार्यकर्ताओं ने उन्हें गुलदस्ता देकर गर्मजोशी से स्वागत किया। इस पर तेजप्रताप ने अपने पिता लालू प्रसाद यादव की शैली में चुटकी लेते हुए कहा, 'अरे.. ये क्या भाई, एक ही गुलदस्ता सब बारी-बारी से दे रहा है।' इस मुलाकात ने बिहार की राजनीति में नए समीकरणों की अटकलों को जन्म दिया है, खासकर जब तेजप्रताप पहले ही महुआ सीट से निर्दलीय चुनाव लड़ने की घोषणा कर चुके हैं। अब उनका सपा से बढ़ता संबंध राजद के लिए एक नई चुनौती बन सकता है।
क्या तेजप्रताप यादव सपा के टिकट पर चुनाव लड़ेंगे?
सपा से नजदीकी या नई पारी की तैयारी?
सूत्रों के अनुसार, तेजप्रताप यादव ने हाल ही में सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव से फोन पर बातचीत की थी। इस बातचीत में अखिलेश ने उनसे पूछा, 'कहां से चुनाव लड़ना है?' अब जब तेजप्रताप समाजवादी पार्टी कार्यालय पहुंचे हैं, तो राजनीतिक हलकों में यह सवाल तेजी से उठ रहा है कि क्या वे सपा के टिकट पर चुनावी मैदान में उतरने की योजना बना रहे हैं?
तेजप्रताप का पार्टी से निष्कासन और बयान
पार्टी से निष्कासन और ‘जयचंदों’ पर हमला
तेजप्रताप ने मंगलवार को मुजफ्फरपुर में एक सभा के दौरान स्पष्ट रूप से कहा, 'मुझे पार्टी से बाहर किया गया। कुछ जयचंदों को लगा कि दूसरा लालू प्रसाद यादव, तेजप्रताप यादव पैदा हो गया है, इसलिए वे मेरी आंखों में खटकने लगे।' उन्होंने यह भी कहा कि जो भी वे पहनते हैं या कहते हैं, वह उनके माता-पिता लालू यादव और राबड़ी देवी की देन है।
तेजप्रताप का नया सियासी अंदाज
पीली टोपी और बदले सियासी तेवर
राजद की पारंपरिक हरी टोपी छोड़कर, तेजप्रताप अब पीली टोपी में नजर आ रहे हैं, जो समाजवादी पार्टी की पहचान मानी जाती है। उनके बदले मिजाज और बढ़ते सियासी तेवरों के साथ, उन्होंने हाल ही में राजद नेता भाई वीरेंद्र पर भी निशाना साधा। राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि तेजप्रताप के इस नए रुख से राजद नेतृत्व, विशेष रूप से तेजस्वी यादव के लिए परिस्थितियां जटिल हो सकती हैं।