नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट: भारत का पहला पेपरलेस एयरपोर्ट

नोएडा एयरपोर्ट की अनोखी विशेषताएँ
Greater Noida News: नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट, जो देश के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा, अन्य हवाई अड्डों से भिन्न होगा। यह भारत का पहला पेपरलेस एयरपोर्ट होगा, जहां यात्रियों को चेहरे की पहचान के माध्यम से प्रवेश मिलेगा। यह एयरपोर्ट पूरी तरह से डिजिटल होगा, जिसमें चेहरे की पहचान (फेस रिकग्निशन) और बायोमैट्रिक डेटा का उपयोग किया जाएगा। इस प्रकार, यह एयरपोर्ट अपने आप में विशेष होगा।
डिजी यात्रा प्रणाली से यात्रा का नया अनुभव
डिजी यात्रा सिस्टम से बदल जाएगा सफर का अंदाज
नोएडा एयरपोर्ट पर लागू होने वाला डिजी यात्रा सिस्टम यात्रियों को चेक-इन, सुरक्षा जांच और बोर्डिंग की सभी प्रक्रियाएँ बिना कागजी दस्तावेजों और कतार में खड़े हुए पूरी करने की सुविधा देगा। एक बार चेहरे की पहचान हो जाने पर यात्री सभी गेट्स पार कर सकेंगे, जिससे बार-बार बोर्डिंग पास या पहचान पत्र दिखाने की आवश्यकता नहीं होगी।
तकनीकी सहयोग से सुसज्जित एयरपोर्ट
विप्रो और आईकैड दे रहे टेक्निकल सहयोग
इस परियोजना को सफल बनाने के लिए विप्रो और आईकैड होल्डिंग कंपनी को सिस्टम इंटीग्रेटर के रूप में नियुक्त किया गया है। एयरपोर्ट पर फेस स्कैनिंग, ऑटोमेटेड बैग ड्रॉप और रियल-टाइम डेटा ट्रैकिंग जैसी अत्याधुनिक तकनीकों का उपयोग किया जाएगा।
लंबी कतारों से मिलेगी मुक्ति
अब नहीं लगानी पड़ेगी लंबी लाइन
डिजी यात्रा प्रणाली लागू होने के बाद यात्रियों को एयरपोर्ट पर कतार में खड़े होने की आवश्यकता नहीं होगी। प्रवेश द्वार से लेकर बोर्डिंग गेट तक सभी प्रक्रियाएँ स्वचालित और संपर्क रहित होंगी, जिससे समय की बचत होगी और यात्रा अधिक सुरक्षित रहेगी।
सुरक्षा व्यवस्था में सीआईएसएफ की भूमिका
सीआईएसएफ के 1030 जवान तैनात
नोएडा एयरपोर्ट की सुरक्षा अब केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) के जिम्मे है। हाल ही में आयोजित इंडक्शन प्रोग्राम में यह जिम्मेदारी सौंपी गई, जिसमें 1030 जवानों को सुरक्षा व्यवस्था में तैनात किया गया है।
उद्घाटन की तारीख
30 अक्तूबर को होगा उद्घाटन
नोएडा एयरपोर्ट के पहले चरण का निर्माण कार्य लगभग पूरा हो चुका है और इसका उद्घाटन 30 अक्तूबर को होगा। इसके शुरू होते ही भारत उन देशों की सूची में शामिल हो जाएगा, जहां पूरी तरह डिजिटल एयरपोर्ट मौजूद हैं।