भारत के नए उपराष्ट्रपति बने CP Radhakrishnan: जानें उनकी राजनीतिक यात्रा

CP Radhakrishnan का चुनाव
CP Radhakrishnan: एनडीए के उम्मीदवार और महाराष्ट्र के पूर्व राज्यपाल, सी.पी. राधाकृष्णन को भारत का नया उपराष्ट्रपति चुना गया है। उन्होंने विपक्षी उम्मीदवार बी. सुदर्शन रेड्डी को एक बड़े अंतर से हराया। कुल 781 मतों में से 767 वोट डाले गए, जिसमें राधाकृष्णन को 452 पहले वरीयता मत मिले, जबकि सुदर्शन रेड्डी को केवल 300 मत प्राप्त हुए।
चुनाव प्रक्रिया में 15 वोट अमान्य रहे, और 13 सांसदों ने मतदान में भाग नहीं लिया। इनमें बीजेडी के 7, बीआरएस के 4, एक अकाली दल का सांसद और एक निर्दलीय सांसद शामिल थे।
सीपी राधाकृष्णन का परिचय
कौन हैं सीपी राधाकृष्णन?
सीपी राधाकृष्णन का जन्म 20 अक्टूबर 1957 को तिरुपुर, तमिलनाडु में हुआ। उन्होंने अपने राजनीतिक करियर की शुरुआत आरएसएस स्वयंसेवक के रूप में की और 1974 में भारतीय जनसंघ के राज्य कार्यकारी समिति के सदस्य बने।
संसद और राजनीति में योगदान
संसद और राजनीति में योगदान
राधाकृष्णन दो बार लोकसभा सांसद (कोयंबटूर, 1998 और 1999) रह चुके हैं। उन्होंने टेक्सटाइल स्टैंडिंग कमेटी के अध्यक्ष और पीएसयू तथा वित्त समिति के सदस्य के रूप में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। 2004 में, उन्होंने संयुक्त राष्ट्र महासभा और ताइवान के पहले भारतीय प्रतिनिधिमंडल में भी भाग लिया।
तमिलनाडु और पार्टी में नेतृत्व
तमिलनाडु और पार्टी में नेतृत्व
तमिलनाडु में, वे भाजपा के राज्य अध्यक्ष (2004–2007) के रूप में उभरे और 19,000 किलोमीटर लंबी 93 दिनों की ‘रथ यात्रा’ का नेतृत्व किया। इसके अलावा, उन्होंने केरल में भाजपा के ऑल इंडिया इंचार्ज (2020–2022) के रूप में भी कार्य किया।
राज्यपाल के रूप में सेवा
राज्यपाल के रूप में सेवा
2016–2020 तक कोयर बोर्ड के अध्यक्ष रहते हुए, सीपी राधाकृष्णन ने 2,532 करोड़ रुपये के रिकॉर्ड निर्यात को सफलतापूर्वक संचालित किया। 2023 में, उन्हें झारखंड का राज्यपाल नियुक्त किया गया, जहां उन्होंने 4 महीनों में 24 जिलों का दौरा किया। जुलाई 2024 में, उन्हें महाराष्ट्र का राज्यपाल नियुक्त किया गया और इसके पहले उन्हें तेलंगाना के राज्यपाल और पुडुचेरी के उपराज्यपाल का अतिरिक्त कार्यभार भी सौंपा गया।
राजनीतिक और प्रशासनिक अनुभव
राजनीतिक और प्रशासनिक अनुभव
चार दशकों से अधिक के अनुभव के साथ, सीपी राधाकृष्णन तमिलनाडु की राजनीति और भाजपा संगठनात्मक ढांचे में गहरी जड़ें रखते हैं। उन्हें राजनीतिक समझ और प्रशासनिक दक्षता के लिए एक अनुभवी और प्रतिष्ठित नेता माना जाता है।