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मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन की कानूनी परेशानियाँ बढ़ीं, एसीबी ने किया समन

दिल्ली सरकार के पूर्व मंत्री मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन की कानूनी परेशानियाँ बढ़ गई हैं। एंटी-करप्शन ब्रांच ने उन्हें सरकारी स्कूलों में कक्षा निर्माण से जुड़े 2000 करोड़ रुपये के घोटाले के सिलसिले में समन जारी किया है। इस मामले में आरोप है कि निर्माण कार्य के दौरान लागत को फर्जी तरीके से बढ़ाया गया। आम आदमी पार्टी ने इसे राजनीतिक प्रतिशोध बताया है। जानें इस मामले की पूरी जानकारी और राजनीतिक हलचल के बारे में।
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मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन की कानूनी परेशानियाँ बढ़ीं, एसीबी ने किया समन

दिल्ली सरकार के पूर्व मंत्रियों की मुश्किलें

नई दिल्ली: आम आदमी पार्टी (AAP) के वरिष्ठ नेता मनीष सिसोदिया और सत्येंद्र जैन की कानूनी समस्याएँ एक बार फिर गहराई में चली गई हैं। एंटी-करप्शन ब्रांच (ACB) ने दिल्ली के सरकारी स्कूलों में कक्षा निर्माण से जुड़े लगभग 2000 करोड़ रुपये के कथित घोटाले के सिलसिले में दोनों नेताओं को समन जारी किया है।


समन जारी किया गया है: सूत्रों के अनुसार, एसीबी ने सत्येंद्र जैन को 6 जून और मनीष सिसोदिया को 9 जून, 2025 को पूछताछ के लिए अपने कार्यालय में उपस्थित होने का निर्देश दिया है। यह कार्रवाई 30 अप्रैल को दर्ज की गई एक FIR के आधार पर की गई है, जिसमें सरकारी स्कूलों में 12,748 कक्षा कक्षों के निर्माण में अनियमितताओं और लागत में अनुचित बढ़ोतरी के आरोप लगाए गए हैं।


आरोप है कि निर्माण कार्य के दौरान लोक निर्माण विभाग (PWD) के अंतर्गत लागत को फर्जी तरीके से बढ़ाया गया, जिससे सरकारी खजाने को बड़ा नुकसान हुआ। इस मामले की जांच अब तेजी से आगे बढ़ रही है।


AAP सरकार के शिक्षा क्षेत्र में किए गए कार्यों को उसकी सबसे बड़ी उपलब्धि माना जाता रहा है, लेकिन इस मामले ने उन दावों पर सवाल खड़े कर दिए हैं। आम आदमी पार्टी ने इस कार्रवाई को राजनीति से प्रेरित बताते हुए आरोपों को खारिज किया है। पार्टी का कहना है कि विपक्ष उनके नेताओं को निशाना बनाने के लिए जांच एजेंसियों का उपयोग कर रहा है।


यह ध्यान देने योग्य है कि मनीष सिसोदिया पहले से ही दिल्ली शराब नीति मामले में जेल में हैं, जबकि सत्येंद्र जैन भी मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में न्यायिक हिरासत में रह चुके हैं। अब इस नए मामले में समन जारी होने से दोनों नेताओं की परेशानियाँ और बढ़ गई हैं।


सिसोदिया दिल्ली के पूर्व उपमुख्यमंत्री और शिक्षा मंत्री के रूप में कार्यरत थे, जबकि सत्येंद्र जैन स्वास्थ्य और पीडब्ल्यूडी जैसे महत्वपूर्ण विभागों का जिम्मा संभालते थे। राजनीतिक गलियारों में इस मामले को लेकर हलचल तेज़ हो गई है और विपक्ष आम आदमी पार्टी पर भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगाते हुए हमलावर रुख अपना रहा है।