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यमुना सीमा विवाद: हरियाणा और यूपी किसानों के बीच हिंसक टकराव

यमुना सीमा विवाद ने हरियाणा और उत्तर प्रदेश के किसानों के बीच तनाव को बढ़ा दिया है। रिशपुर गाँव के किसानों ने मवी गाँव के किसानों पर आरोप लगाया है कि उन्होंने उनकी धान की फसल को नष्ट किया और हवाई गोलीबारी की। इस घटना ने दशकों पुराने सीमा विवाद को फिर से ताजा कर दिया है। प्रशासन ने मामले की जांच शुरू कर दी है, लेकिन पुलिस की प्रारंभिक निष्क्रियता पर सवाल उठ रहे हैं। जानें इस संघर्ष की पूरी कहानी और समाधान की संभावनाएँ।
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यमुना सीमा विवाद: हरियाणा और यूपी किसानों के बीच हिंसक टकराव

यमुना सीमा विवाद का बढ़ता तनाव

यमुना सीमा विवाद ने हरियाणा और उत्तर प्रदेश के किसानों के बीच तनाव को एक नई दिशा में बढ़ा दिया है।


किसानों के आरोप और फसल का नुकसान

हरियाणा के रिशपुर गाँव के किसानों ने आरोप लगाया है कि उत्तर प्रदेश के मवी गाँव के किसानों ने उनकी 10 एकड़ धान की फसल को नष्ट कर दिया और उन्हें धमकाने के लिए हवाई गोलीबारी की। यह घटना एक पुरानी सीमा विवाद को फिर से ताजा कर रही है, जिसके चलते पुलिस की निष्क्रियता पर सवाल उठ रहे हैं।


गोलीबारी और फसलों की बर्बादी

रिशपुर गाँव के किसान बताते हैं कि मवी गाँव के किसानों ने यमुना की तलहटी में उनके खेतों पर हमला किया और धान रोपाई के लिए तैयार खेतों को जुताई कर बर्बाद कर दिया। इसके बाद, उन्होंने हवाई गोलीबारी कर किसानों को डराने का प्रयास किया।


पुलिस की कार्रवाई

हरियाणा पुलिस ने घटनास्थल पर पहुँचकर स्थिति को नियंत्रित करने का प्रयास किया, लेकिन आरोप है कि मवी के किसान दो किलोमीटर दूर से गोलीबारी करते रहे। बाद में, डीएसपी समालखा नरेंद्र कादियान के नेतृत्व में भारी पुलिस बल ने स्थिति को संभाला।


जांच और प्रशासन की भूमिका

हरियाणा पुलिस ने रिशपुर के किसानों की शिकायत पर मामला दर्ज कर लिया है और जांच शुरू कर दी है। डीएसपी नरेंद्र कादियान ने कहा कि मवी गाँव के किसानों के खिलाफ उचित कार्रवाई की जाएगी। हालांकि, पुलिस की प्रारंभिक निष्क्रियता पर सवाल उठ रहे हैं।


दशकों पुराना विवाद

यमुना नदी का बार-बार मार्ग बदलना हरियाणा और उत्तर प्रदेश के बीच सीमा विवाद का मुख्य कारण है। यह नदी दोनों राज्यों के लिए अनौपचारिक सीमा रेखा का काम करती है, जिससे भूमि स्वामित्व को लेकर तनाव बना रहता है।


समाधान की उम्मीद

रिशपुर के किसान प्रशासन से फसल के नुकसान की भरपाई और सुरक्षा की मांग कर रहे हैं। बागपत के नांगल गाँव में भी इसी तरह के विवाद सामने आए हैं। प्रशासन ने उच्च स्तरीय समिति के साथ बातचीत शुरू करने का आश्वासन दिया है, ताकि यमुना सीमा विवाद का स्थायी समाधान निकाला जा सके।