लाल किले के विस्फोट की साजिश में नए सबूत सामने आए
लाल किले के विस्फोट की जांच में नए खुलासे
नई दिल्ली। लाल किले के पास हुए विस्फोट के मामले में जांच एजेंसियों को महत्वपूर्ण सबूत मिले हैं। अधिकारियों का मानना है कि इस घटना की योजना पिछले दो वर्षों से बनाई जा रही थी। विस्फोट की तीव्रता को देखते हुए, यह स्पष्ट है कि अमोनियम नाइट्रेट का उपयोग नहीं किया गया था, बल्कि इसमें अधिक घातक विस्फोटक का इस्तेमाल किया गया हो सकता है। इसके अलावा, संदिग्ध आतंकियों उमर और मुज्जमिल के तुर्की जाने के संकेत भी मिले हैं, जहां उनकी जैश ए मोहम्मद के आतंकवादियों से मुलाकात हुई थी। हर दिन नए खुलासे इस मामले की गंभीरता को बढ़ा रहे हैं।
उमर नबी की दूसरी कार का पता चला
इस बीच, विस्फोट के आरोपी उमर नबी की एक और कार का पता लगाया गया है, जिसे पुलिस ने फरीदाबाद के खंडावली गांव से बरामद किया है। यह गाड़ी उमर के नाम पर दिल्ली में रजिस्टर्ड है, लेकिन इसमें फर्जी दस्तावेजों का इस्तेमाल होने की संभावना जताई जा रही है। इस गाड़ी का मिलना महत्वपूर्ण है क्योंकि पुलिस को संदेह है कि कुछ विस्फोटक अब भी बरामद नहीं हुए हैं।
फरीदाबाद से संचालित आतंकी समूह का खुलासा
पुलिस को उमर की दूसरी गाड़ी के बारे में जानकारी मिलने के बाद कई राज्यों में अलर्ट जारी किया गया था। यह गाड़ी खंडावली गांव में उमर के दोस्त के घर के पास मिली। जांच के दौरान, यह पता चला है कि दिल्ली में विस्फोट करने वाले संदिग्ध आतंकियों का समूह फरीदाबाद की अल फलाह यूनिवर्सिटी से संचालित हो रहा था। डॉ. शाहीन शाहिद, जो फरीदाबाद से गिरफ्तार हुए हैं, ने बताया कि वह पिछले दो वर्षों से विस्फोटक जमा कर रही थी।
आतंकियों की साजिश का दायरा
इस मॉड्यूल में शामिल आतंकियों का संबंध जैश ए मोहम्मद और अंसार गजवत उल हिंद जैसे संगठनों से था। रिपोर्टों के अनुसार, इस समूह ने देशभर में दो सौ बम से मुंबई के 26/11 जैसे हमले करने की योजना बनाई थी। दिल्ली के लाल किला, इंडिया गेट, कॉन्स्टिट्यूशन क्लब और गौरी शंकर मंदिर जैसे स्थानों पर धमाके करने की योजना थी। आतंकियों के निशाने पर गुरुग्राम, फरीदाबाद और देशभर के रेलवे स्टेशनों और बड़े मॉल्स भी थे।
डीएनए जांच और अन्य विवरण
इस बीच, विस्फोट में शामिल कार चलाने वाले आतंकी डॉक्टर उमर की मां का डीएनए सैंपल लिया गया है, जिसे जांच के लिए एम्स दिल्ली की फॉरेंसिक लैब में भेजा गया है। विस्फोट में इस्तेमाल की गई हुंडई आई20 कार फरीदाबाद के एक सेकेंड हैंड कार शोरूम 'रॉयल कार जोन' से बेची गई थी, और शोरूम के मालिक को हिरासत में लिया गया है। अल फलाह यूनिवर्सिटी की वाइस चांसलर डॉ. भूपिंदर कौर ने कहा है कि कैंपस में केमिकल लाने की बात गलत है। घटना स्थल से करीब 40 सैंपल एकत्र किए गए हैं, जिनमें से एक सैंपल में अमोनियम नाइट्रेट होने की संभावना है।
