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डॉ बीरबल झा अंग्रेजी साहित्य रत्न पुरस्कार 2025 से सम्मानित

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डॉ बीरबल झा अंग्रेजी साहित्य रत्न पुरस्कार 2025 से सम्मानित


डॉ बीरबल झा अंग्रेजी साहित्य रत्न पुरस्कार 2025 से सम्मानित


डॉ बीरबल झा अंग्रेजी साहित्य रत्न पुरस्कार 2025 से सम्मानित


नई दिल्ली, 26 फरवरी (हि.स.)। प्रख्यात अंग्रेज़ी साहित्यकार, शिक्षाविद और समाजसेवी डॉ. बीरबल झा को अंग्रेज़ी साहित्य रत्न पुरस्कार 2025 से सम्मानित किया गया। डॉ. झा को यह प्रतिष्ठित सम्मान साहित्य, शिक्षा और सामाजिक जागरूकता में अभूतपूर्व योगदान के लिए प्रदान किया गया है।

डॉ. बीरबल झा को नई दिल्‍ली स्थित इंडिया इंटरनेशनल सेंटर में बुधवार को आयोजित एक पुरस्कार समारोह में रामकृष्ण आश्रम के सचिव स्वामी सर्वलोकानंद महाराज, ब्रिगेडियर संजय अग्रवाल, पूर्व डीजीपी डॉ. आनंद कुमार और मनोवैज्ञानिक डॉ. उमेश शर्मा ने आरोग्य सृजन न्यास की ओर से यह सम्मान प्रदान किया। अग्रेजी शिक्षा के क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलाव लाने वाले डॉ. बीरबल झा ने 'इंग्लिश फॉर ऑल' अभियान के माध्यम से लाखों लोगों को सशक्त किया है।

डॉ. बीरबल झा ने पुरस्कार प्राप्त करने के अवसर पर अपने संबोधन में कहा, भारत के आम लोगों तक अंग्रेज़ी कौशल पहुंचाकर उनकी शैक्षिक और सामाजिक प्रगति सुनिश्चित करना मेरा लक्ष्य है। डॉ. झा ने अंग्रेज़ी शिक्षण को सामाजिक जागरूकता से जोड़ते हुए लैंगिक समानता, सामाजिक न्याय और सांस्कृतिक संरक्षण को बढ़ावा देने पर दिया।

डॉ. झा की साहित्यिक कृतियां भारतीय विरासत का सम्मान करने के साथ-साथ वैश्विक भाषाई एकीकरण को प्रोत्साहित करती हैं, जिससे परंपरा और आधुनिकता के बीच संतुलन स्थापित होता है। उनकी प्रसिद्ध पुस्तकें सेलिब्रेट योर लाइफ और स्पोकन इंग्लिश किट ने विशेष रूप से ग्रामीण और अर्ध-शहरी समुदायों में अंग्रेज़ी सीखने को सुलभ और व्यावहारिक बनाया है। डॉ. बीरबल झा का योगदान न केवल अंग्रेज़ी शिक्षा के लोकतंत्रीकरण में अहम रहा है, बल्कि उन्होंने सामाजिक-आर्थिक बाधाओं को तोड़ते हुए एक समावेशी शिक्षण तंत्र भी विकसित किया है। उनकी पुस्तकें विद्यार्थियों, पेशेवरों और वंचित वर्गों के लिए बेहद उपयोगी साबित हुई हैं, जो उन्हें व्यक्तिगत और व्यावसायिक सफलता के लिए आवश्यक संचार कौशल प्रदान करती हैं।

उल्‍लेखनीय है कि स्टार ऑफ एशिया अवार्ड, पर्सन ऑफ द ईयर, ग्रेट पर्सनालिटी ऑफ इंडिया, पंडित मदन मोहन मालवीय अवार्ड और ग्लोबल स्किल्स ट्रेनर अवार्ड जैसे प्रतिष्ठित सम्मान प्राप्त कर चुके डॉ. बीरबल झा ने शिक्षा, सामाजिक न्याय और सामुदायिक विकास के बीच की खाई को पाटने का कार्य किया है। अंग्रेज़ी शिक्षा और सांस्कृतिक पुनर्जागरण के प्रति उनकी अटूट प्रतिबद्धता ने भारतीय समाज पर एक स्थायी प्रभाव छोड़ा है, जिससे लाखों लोगों के जीवन में सकारात्मक बदलाव आया है।

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हिन्दुस्थान समाचार / प्रजेश शंकर