रेसुब ने 40 नाबालिगों, दो महिलाओं को बचाया
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गुवाहाटी, 23 फरवरी (हि.स.)। पूर्वोत्तर सीमांत रेलवे (पूसीरे) की रेलवे सुरक्षा बल (रेसुब) ट्रेन एवं स्टेशनों की सुरक्षा के लिए लगातार अभियान चला रहा है। पूसीरे के सीपीआरओ कपिंजल किशोर शर्मा ने रविवार को बताया कि रेसुब ने 01 से 14 फरवरी तक पूसीरे के विभिन्न रेलवे स्टेशनों से 40 नाबालिगों और दो महिलाओं को सफलतापूर्वक बचाकर असुरक्षित व्यक्तियों की सुरक्षा के प्रति अपनी प्रतिबद्धता को एक बार पुन: साबित किया है। बचाए गए व्यक्तियों को उचित देखभाल और अभिरक्षा के लिए चाइल्ड लाइन, एनजीओ, माता-पिता और सरकारी रेलवे पुलिस/स्थानीय पुलिस को सौंप दिया गया। यह पहल मानव तस्करी को रोकने, भागे हुए बच्चों की सुरक्षा और बाल शोषण से लड़ने के लिए रेलवे सुरक्षा बल के निरंतर प्रयासों का हिस्सा है, जो रेल यात्रियों के एक चौकस संरक्षक के रूप में अपनी भूमिका को प्रमाणित करते हैं।
फरवरी माह में बचाव अभियानों की एक श्रृंखला में, आरपीएफ ने संकटपूर्ण स्थितियों पर त्वरित कार्रवाई की। 2 फरवरी को, कोकराझाड़ रेलवे स्टेशन पर, कोकराझाड़ रेसुब की टीम ने 17 वर्षीय एक नाबालिग लड़की को बचाया। उचित पहचान के बाद, उसे सुरक्षित रूप से उसके अभिभावक से पुनः मिलवाया गया। इसी तरह, 5 फरवरी को, किशनगंज रेलवे स्टेशन पर, किशनगंज रेसुब की टीम ने पश्चिम बंगाल और बिहार के विभिन्न स्थानों से भागे हुए पांच नाबालिग लड़कों को बचाया। इन नाबालिगों को तुरंत किशनगंज चाइल्ड लाइन को सौंप दिया गया, जिससे उन सभी के सुरक्षा और कल्याण सुनिश्चित हो सके।
वहीं, 12 फरवरी को कटिहार रेलवे स्टेशन पर एक उल्लेखनीय रेस्क्यू पहल किया गया, जहां कटिहार रेलवे सुरक्षा बल की टीम ने भागे हुए पांच और नाबालिग लड़कों को बचाया। इन लड़कों को तुरंत कटिहार के चाइल्ड लाइन के संरक्षण में रखा गया, ताकि उन्हें आवश्यक सहायता और सहयोग मिल सके।
हिन्दुस्थान समाचार / श्रीप्रकाश