क्या मोहम्मद रिजवान ने पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड से तोड़ा नाता? जानें पूरी कहानी
पाकिस्तान क्रिकेट में नया विवाद
नई दिल्ली: पाकिस्तान क्रिकेट में एक नया विवाद उभरकर सामने आया है। अनुभवी विकेटकीपर-बल्लेबाज मोहम्मद रिजवान ने पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड द्वारा प्रस्तुत नए केंद्रीय अनुबंध पर हस्ताक्षर करने से मना कर दिया है। रिपोर्टों के अनुसार, रिजवान को हाल ही में कैटेगरी A से घटाकर कैटेगरी B में रखा गया है, जिससे वह काफी असंतुष्ट हैं।
अनुबंध पर हस्ताक्षर न करने का कारण
एक रिपोर्ट के अनुसार, 30 खिलाड़ियों में से केवल मोहम्मद रिजवान ही ऐसे हैं जिन्होंने अब तक अपने अनुबंध पर हस्ताक्षर नहीं किए हैं। PCB ने हाल ही में अनुबंध संरचना में महत्वपूर्ण बदलाव करते हुए एलीट कैटेगरी A को समाप्त कर दिया, जो पहले सीनियर खिलाड़ियों जैसे बाबर आजम, शाहीन शाह अफरीदी और रिजवान के लिए आरक्षित थी।
कैटेगरी में बदलाव से नाराज रिजवान
PCB के इस निर्णय को टीम के प्रदर्शन में असंतोष का संकेत माना जा रहा है। नए ढांचे के तहत 10 खिलाड़ियों, जिनमें बाबर आजम, शाहीन अफरीदी और रिजवान शामिल हैं, को कैटेगरी B में रखा गया है। हालांकि, रिजवान ने बोर्ड को स्पष्ट कर दिया है कि जब तक उनकी चिंताओं का समाधान नहीं किया जाता, वह अनुबंध पर हस्ताक्षर नहीं करेंगे।
रिजवान की नाराजगी का मुख्य कारण कैटेगरी में बदलाव और हाल ही में ODI कप्तानी से हटाया जाना है। उन्होंने PCB से मांग की है कि सीनियर खिलाड़ियों के लिए एक अलग श्रेणी बनाई जाए। रिजवान ने स्पष्ट रूप से कहा है कि सीनियर खिलाड़ियों के लिए कैटेगरी A को फिर से बहाल किया जाए और कप्तान को स्पष्ट कार्यकाल और बिना किसी हस्तक्षेप के पूर्ण अधिकार दिए जाएं ताकि वह अपनी योजनाओं को स्वतंत्र रूप से लागू कर सके।
रिजवान का क्रिकेट करियर
33 वर्षीय मोहम्मद रिजवान अपनी निरंतरता और जुझारूपन के लिए जाने जाते हैं। उन्होंने पिछले कुछ वर्षों में पाकिस्तान टीम के लिए सभी प्रारूपों में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। हालांकि, वह दिसंबर 2024 से T20I टीम से बाहर हैं और उनकी ODI कप्तानी से बर्खास्तगी ने कई प्रशंसकों को चौंका दिया। उनकी जगह शाहीन शाह अफरीदी को वनडे कप्तान बनाया गया है।
PCB में अस्थिरता का माहौल
रिजवान और PCB के बीच यह टकराव पाकिस्तान क्रिकेट में जारी नेतृत्व और चयन विवादों को और बढ़ा रहा है। हाल के महीनों में कप्तानी और चयन से जुड़ी अनिश्चितता ने खिलाड़ियों, प्रशंसकों और विशेषज्ञों के बीच तीखी बहस छेड़ दी है।
