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गौतम गंभीर की कोचिंग में भारत ने इंग्लैंड को हराया, सिद्धू ने की प्रशंसा

भारत ने इंग्लैंड के खिलाफ ओवल में खेले गए टेस्ट में शानदार जीत हासिल की, जिससे सीरीज 2-2 से बराबर हो गई। पूर्व क्रिकेटर नवजोत सिंह सिद्धू ने गौतम गंभीर की कोचिंग की प्रशंसा की और युवा खिलाड़ियों की मेहनत को सराहा। सिद्धू ने गंभीर के साहसी निर्णयों की भी तारीफ की, जो टीम की जीत में महत्वपूर्ण साबित हुए। इस जीत ने भारतीय क्रिकेट के भविष्य को उज्ज्वल बताया।
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गौतम गंभीर की कोचिंग में भारत ने इंग्लैंड को हराया, सिद्धू ने की प्रशंसा

भारत की शानदार जीत

ENG vs IND, गौतम गंभीर: भारत ने इंग्लैंड के खिलाफ ओवल में खेले गए पांचवे टेस्ट में शानदार जीत दर्ज की, जिससे सीरीज 2-2 से बराबर हो गई। इस जीत के बाद, पूर्व भारतीय क्रिकेटर नवजोत सिंह सिद्धू ने टीम इंडिया के कोच गौतम गंभीर की प्रशंसा की।


गंभीर के निर्णयों ने बदला खेल का रुख

न्यूजीलैंड और ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ हार के बाद गंभीर की कोचिंग पर सवाल उठाए जा रहे थे, लेकिन इंग्लैंड में उनके निर्णयों ने सभी को चुप कर दिया। सिद्धू ने गंभीर के आत्मविश्वास और रणनीति को इस जीत का असली नायक बताया, न कि शुभमन गिल, मोहम्मद सिराज या केएल राहुल को।


गंभीर के साहसी फैसले

इंग्लैंड दौरे पर गंभीर ने कई महत्वपूर्ण और जोखिम भरे निर्णय लिए। विशेष रूप से, कुलदीप यादव की जगह वॉशिंगटन सुंदर को मौका देने का उनका निर्णय चर्चा का विषय बना। कई विशेषज्ञों ने इस फैसले पर सवाल उठाए, लेकिन गंभीर ने अपनी रणनीति पर भरोसा रखा। उन्होंने बल्लेबाजी को गहराई देने पर जोर दिया, जो अंततः सफल साबित हुआ।


युवा खिलाड़ियों की सराहना

सिद्धू ने भारतीय टीम के युवा खिलाड़ियों की भी प्रशंसा की। उन्होंने कहा कि इंग्लैंड में मिली जीत ने इतिहास रच दिया है, जैसा पहले ब्रिस्बेन और पर्थ में हुआ था। सिद्धू ने कहा, "यह जीत युवा खिलाड़ियों की मेहनत का परिणाम है। चाहे वह आकाश दीप हों या वॉशिंगटन, इन खिलाड़ियों ने दिखाया कि भारत का भविष्य उज्ज्वल है।"


गंभीर के आलोचकों को जवाब

सिद्धू ने गंभीर के आलोचकों को भी करारा जवाब दिया। उन्होंने कहा, "जब भारत थोड़ा सा खराब खेलता है, तो सब गंभीर को निशाना बनाते हैं। लेकिन आज, जब टीम ने इतना शानदार प्रदर्शन किया, तो क्या आप उनके लिए तालियां बजाएंगे?" सिद्धू ने गंभीर के धैर्य और आत्मविश्वास की प्रशंसा करते हुए कहा कि कोच के रूप में उन्होंने कठिन परिस्थितियों में भी हार नहीं मानी। उनकी रणनीति और खिलाड़ियों पर विश्वास ने भारत को इंग्लैंड में ऐतिहासिक प्रदर्शन करने में मदद की।