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भारत-इंग्लैंड टेस्ट सीरीज: प्लेइंग इलेवन में बदलाव की आवश्यकता?

भारत और इंग्लैंड के बीच टेस्ट सीरीज का दूसरा मुकाबला बर्मिंघम में होने वाला है। पहले टेस्ट में हार के बाद, टीम इंडिया की संभावित प्लेइंग इलेवन पर चर्चा तेज हो गई है। क्या प्रसिद्ध कृष्णा और शार्दुल ठाकुर को फिर से मौका दिया जाएगा? जानें उनके पिछले प्रदर्शन के बारे में और क्या बदलाव की आवश्यकता है।
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भारत और इंग्लैंड के बीच टेस्ट सीरीज का दूसरा मुकाबला

भारत और इंग्लैंड के बीच टेस्ट सीरीज का दूसरा मैच बर्मिंघम के एजबेस्टन में होने वाला है। पहले टेस्ट में हार के बाद, टीम इंडिया की संभावित प्लेइंग इलेवन पर चर्चा तेज हो गई है। फैंस और विशेषज्ञ यह जानने के लिए उत्सुक हैं कि क्या टीम उसी स्क्वॉड पर भरोसा करेगी जिसने पहले मैच में निराश किया था।


इस बहस में दो भारतीय खिलाड़ियों का प्रदर्शन मुख्य रूप से चर्चा का विषय बना हुआ है। पहले टेस्ट में इनका प्रदर्शन न केवल निराशाजनक रहा, बल्कि मैच के परिणाम पर भी इसका असर पड़ा। अब सवाल यह उठता है कि क्या इन्हें अगले मैच में फिर से मौका देना सही होगा।


पहला खिलाड़ी, तेज गेंदबाज प्रसिद्ध कृष्णा, का टेस्ट डेब्यू इंग्लैंड के खिलाफ बेहद खराब रहा। इंग्लिश बल्लेबाजों ने उन्हें पूरी तरह से सेट नहीं होने दिया। पहली पारी में उन्होंने 20 ओवर में 128 रन दिए, जिससे उनकी इकोनॉमी 6.40 रही। यह आंकड़ा उन्हें उन गेंदबाजों की सूची में डालता है जिन्होंने 20 या उससे अधिक ओवर फेंकने के बाद भी 6 से अधिक की दर से रन दिए।


दूसरी पारी में भी उनकी स्थिति में सुधार नहीं हुआ, जहां उन्होंने 6.13 की इकोनॉमी से रन खर्च किए। इस प्रदर्शन ने टीम इंडिया की गेंदबाजी को कमजोर कर दिया और विपक्षी बल्लेबाजों को खुलकर खेलने का मौका दिया।


दूसरे खिलाड़ी शार्दुल ठाकुर से लीड्स टेस्ट में ऑलराउंडर की भूमिका में संतुलन बनाए रखने की उम्मीद थी, लेकिन उनका योगदान सीमित रहा। उन्होंने पूरे मैच में केवल दो विकेट लिए, जो लगातार दो गेंदों पर आए। कप्तान ने उन पर ज्यादा भरोसा नहीं जताया।


पहली पारी में उन्होंने केवल 6 ओवर फेंके और 38 रन दिए। दूसरी पारी में 10 ओवर डालने के बावजूद 51 रन खर्च किए और कोई खास प्रभाव नहीं छोड़ पाए। बल्लेबाजी में भी उनका योगदान मामूली रहा — पहली पारी में केवल 1 रन और दूसरी पारी में 4 रन बनाकर पवेलियन लौट गए।