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आंध्र प्रदेश का झींगा निर्यात: ऑस्ट्रेलिया से नई संभावनाएं

आंध्र प्रदेश सरकार ने अमेरिका के बढ़ते टैक्स के कारण प्रभावित झींगा निर्यात उद्योग को बचाने के लिए ऑस्ट्रेलिया की ओर रुख किया है। मंत्री नारा लोकेश नायडू की यात्रा के दौरान, ऑस्ट्रेलियाई सरकार ने भारतीय झींगों के आयात पर पाबंदियों को आसान करने का आश्वासन दिया। इस यात्रा में समुद्री उत्पादों की गुणवत्ता बढ़ाने और क्यूलिनरी टूरिज्म को बढ़ावा देने पर भी चर्चा हुई। जानें इस यात्रा के दौरान की गई महत्वपूर्ण बैठकों और निर्णयों के बारे में।
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आंध्र प्रदेश का झींगा निर्यात: ऑस्ट्रेलिया से नई संभावनाएं

आंध्र प्रदेश झींगा निर्यात में नई दिशा

आंध्र प्रदेश झींगा निर्यात: आंध्र प्रदेश सरकार ने अमेरिका द्वारा लगाए गए उच्च टैक्स के कारण प्रभावित झींगा निर्यात उद्योग को बचाने के लिए ऑस्ट्रेलिया की ओर कदम बढ़ाया है। मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू के बेटे और राज्य के आईटी एवं एचआरडी मंत्री नारा लोकेश नायडू ने ऑस्ट्रेलिया में अपनी सात दिवसीय यात्रा के दौरान यह जानकारी साझा की। उन्होंने बताया कि ऑस्ट्रेलियाई सरकार भारतीय झींगों के आयात पर लगी पाबंदियों को कम कर सकती है।

लोकेश ने कहा कि भारतीय समुद्री उत्पाद निर्यातकों के लिए सबसे बड़ी चुनौती ऑस्ट्रेलिया में बिना छीली झींगों पर रोक थी, जो व्हाइट स्पॉट वायरस के खतरे के कारण लगाई गई थी। लेकिन अब भारत और ऑस्ट्रेलिया की सरकारों के बीच लंबे प्रयासों के बाद भारतीय झींगों के आयात की पहली मंजूरी मिल गई है। उन्होंने यह भी कहा कि हमें एक ही बाजार पर निर्भर रहने से बचने के लिए नए बाजारों की खोज जारी रखनी चाहिए।


स्पेशल विजिटर्स प्रोग्राम के तहत यात्रा

स्पेशल विजिटर्स प्रोग्राम

लोकेश नायडू ऑस्ट्रेलिया के 'स्पेशल विजिटर्स प्रोग्राम' के तहत वहां साझेदारी और सीखने के उद्देश्य से गए थे। उन्होंने ऑस्ट्रेलियन सीफूड एसोसिएशन और सीफूड इंडस्ट्री ऑस्ट्रेलिया (SIA) की सीईओ वेरोनिका पापाकोस्टा से मुलाकात की। इन बैठकों में उन्होंने आंध्र प्रदेश के मछली उत्पाद निर्यातकों को ऑस्ट्रेलियाई खरीदारों से जोड़ने के लिए व्यापार मिशन और नेटवर्किंग कार्यक्रम शुरू करने का आग्रह किया।


क्यूलिनरी टूरिज्म को बढ़ावा

'क्यूलिनरी टूरिज्म' को बढ़ावा देने पर चर्चा

उन्होंने बताया कि आंध्र प्रदेश ने समुद्री उत्पादों की गुणवत्ता और शेल्फ लाइफ को बढ़ाने के लिए प्रोसेसिंग, कोल्ड चेन मैनेजमेंट और पैकेजिंग में उन्नत तकनीकों को अपनाया है। उन्होंने सुझाव दिया कि ऑस्ट्रेलियाई विशेषज्ञ आंध्र प्रदेश के एक्वा उद्योग को टिकाऊ मत्स्य पालन और पर्यावरण-संतुलित उत्पादन के लिए सहयोग दें। इसके साथ ही, आंध्र प्रदेश के सीफूड व्यंजनों को प्रमोट करने और 'क्यूलिनरी टूरिज्म' को बढ़ावा देने पर भी चर्चा हुई।


झींगा निर्यात में आंध्र प्रदेश की महत्वपूर्ण भूमिका

झींगा निर्यात में आंध्र प्रदेश की भूमिका

आंध्र प्रदेश देश के कुल झींगा निर्यात में 80 प्रतिशत और समुद्री उत्पाद निर्यात में 34 प्रतिशत का योगदान देता है, जिसकी वार्षिक कीमत लगभग 21,246 करोड़ रुपये है। इस उद्योग से लगभग 30 लाख लोग जुड़े हुए हैं। ट्रंप प्रशासन द्वारा लगाए गए अतिरिक्त शुल्कों ने इस उद्योग को गंभीर नुकसान पहुंचाया है। अमेरिका ने 25 प्रतिशत के ऊपर 25 प्रतिशत और अतिरिक्त 5.76 प्रतिशत 'काउंटरवेलिंग ड्यूटी' तथा 3.96 प्रतिशत 'एंटी डंपिंग ड्यूटी' लगाई, जिससे कुल टैक्स लगभग 59.72 प्रतिशत तक पहुंच गया। आंध्र प्रदेश सरकार के अनुसार, इससे झींगा निर्यात में लगभग 25,000 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ और लगभग 50 प्रतिशत ऑर्डर रद्द कर दिए गए।