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क्या H-1B वीजा शुल्क भारत के लिए दीर्घकालिक लाभ लाएगा? शशि थरूर का विश्लेषण

कांग्रेस नेता शशि थरूर ने अमेरिका में H-1B वीजा पर ट्रंप द्वारा लगाए गए भारी शुल्क को 'तीसरा झटका' बताया है। उन्होंने कहा कि यह कदम भारत के लिए दीर्घकालिक लाभकारी हो सकता है, भले ही कुछ कंपनियों को तात्कालिक नुकसान हो। थरूर ने इस निर्णय के प्रभावों पर चर्चा की और बताया कि यह MAGA आंदोलन का हिस्सा है। उन्होंने मोदी सरकार की प्रतिक्रिया को संतुलित बताया और भविष्य में भारत-अमेरिका संबंधों की स्थिरता की संभावना पर भी प्रकाश डाला।
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क्या H-1B वीजा शुल्क भारत के लिए दीर्घकालिक लाभ लाएगा? शशि थरूर का विश्लेषण

शशि थरूर की प्रतिक्रिया

Shashi Tharoor: कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व अंतरराष्ट्रीय राजनयिक शशि थरूर ने अमेरिका में H-1B वीजा पर राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा लगाए गए भारी शुल्क को 'तीसरा झटका' करार दिया है। उन्होंने कहा कि यह एक अप्रत्याशित कदम है, जो कुछ व्यक्तियों और कंपनियों को तात्कालिक नुकसान पहुंचा सकता है, लेकिन दीर्घकालिक दृष्टि से यह भारत के लिए फायदेमंद हो सकता है। थरूर ने यह भी बताया कि भारत को हमेशा पीड़ित की भूमिका में नहीं रहना चाहिए।


H-1B वीजा शुल्क का प्रभाव

H-1B वीजा शुल्क का प्रभाव

थरूर का मानना है कि H-1B वीजा पर भारी शुल्क से अमेरिका में भारतीय इंजीनियरों और सॉफ्टवेयर पेशेवरों की स्थिति पर नकारात्मक असर पड़ेगा। उन्होंने कहा कि अमेरिका में इंजीनियरों और सॉफ्टवेयर पेशेवरों की कमी है, जिससे यह निर्णय कई नौकरियों को इंग्लैंड, आयरलैंड, फ्रांस, जर्मनी और विशेष रूप से भारत में आउटसोर्स करने के लिए मजबूर करेगा।


MAGA आंदोलन और ट्रंप की नीतियां

MAGA आंदोलन और ट्रंप की नीतियां

थरूर ने कहा कि यह कदम MAGA (Make America Great Again) आंदोलन का एक हिस्सा है। उन्होंने स्पष्ट किया कि ट्रंप को नस्लवाद का दोष नहीं दिया जा सकता, क्योंकि उनके मित्र विभिन्न जातियों के हैं, लेकिन MAGA समर्थक अवैध प्रवासियों के प्रति पूर्वाग्रह रखते हैं। भारत-अमेरिका संबंध 2025 में मिले विरोधाभासी संकेतों के कारण अस्थिर हैं, लेकिन दीर्घकालिक दृष्टि में यह संबंध मजबूत रह सकता है।


सरकार की प्रतिक्रिया और विदेश नीति

सरकार की प्रतिक्रिया और विदेश नीति

थरूर ने मोदी सरकार की प्रतिक्रिया को 'संतुलित और समझदारी भरी' बताया। उन्होंने कहा कि रूस से तेल खरीदने के अधिकार पर मजबूती दिखाना आवश्यक है, जिसे ट्रंप ने 25% शुल्क के कारण चुनौती दी थी। थरूर ने ट्रंप के भारत के प्रति अचानक मैत्रीपूर्ण रुख को 'विरोधाभासी संकेत' बताया और कहा कि H-1B शुल्क का तुरंत लागू होना स्थिति की जटिलता को दर्शाता है।