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क्या जेद्दा टावर बनेगा दुनिया की सबसे ऊंची इमारत? जानें इसकी खासियतें

सऊदी अरब का जेद्दा टावर, जो बुर्ज खलीफा को पीछे छोड़ने की तैयारी में है, एक मेगा प्रोजेक्ट है। इसकी ऊंचाई लगभग 1000 मीटर होगी और इसे 2028 तक पूरा करने की योजना है। इस टावर में आधुनिक ऑफिस स्पेस, लग्जरी होटल और रेजिडेंशियल अपार्टमेंट शामिल होंगे। जानें इस अद्भुत इमारत की विशेषताएँ और इसके निर्माण की प्रगति के बारे में।
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क्या जेद्दा टावर बनेगा दुनिया की सबसे ऊंची इमारत? जानें इसकी खासियतें

सऊदी अरब का नया मेगा प्रोजेक्ट


नई दिल्ली: अब तक दुनिया की सबसे ऊंची इमारत का खिताब दुबई के बुर्ज खलीफा के पास था, लेकिन यह स्थिति जल्द ही बदलने वाली है। सऊदी अरब एक नई गगनचुंबी इमारत, जेद्दा टावर, का निर्माण कर रहा है, जो ऊंचाई में बुर्ज खलीफा को पीछे छोड़ देगी। यह प्रोजेक्ट सऊदी अरब की आधुनिकता और इंजीनियरिंग कौशल का प्रतीक माना जा रहा है।


जेद्दा टावर की ऊंचाई

बुर्ज खलीफा से ऊंचा होगा जेद्दा टावर: जेद्दा टावर की अनुमानित ऊंचाई लगभग 1000 मीटर (एक किलोमीटर) होगी, जबकि बुर्ज खलीफा की ऊंचाई 828 मीटर है। इसका मतलब है कि जेद्दा टावर कम से कम 172 मीटर अधिक ऊंचा होगा। बुर्ज खलीफा में 163 मंजिलें हैं, जबकि जेद्दा टावर में इससे अधिक मंजिलें होंगी। इसके पूरा होते ही यह दुनिया की सबसे ऊंची इमारत बन जाएगी।


निर्माण की समयसीमा

2028 तक पूरा होने की उम्मीद: जेद्दा टावर के निर्माण का लंबे समय से इंतजार किया जा रहा है। रिपोर्टों के अनुसार, यह मेगा स्ट्रक्चर 2028 तक पूरी तरह तैयार हो सकता है। एक बार जब यह बनकर तैयार होगा, तो यह न केवल सऊदी अरब, बल्कि पूरी दुनिया के लिए एक नया वास्तुशिल्प मील का पत्थर साबित होगा।


निर्माण कार्य की स्थिति

2025 में फिर से शुरू हुआ निर्माण: इस परियोजना का निर्माण कार्य 2025 में फिर से शुरू किया गया। यह टावर सऊदी अरब के क्राउन प्रिंस मोहम्मद बिन सलमान के महत्वाकांक्षी विजन 2030 का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। इसे जेद्दा इकोनॉमिक सिटी में बनाया जा रहा है, जिसे सऊदी अरब का भविष्य का आर्थिक और व्यावसायिक केंद्र माना जा रहा है।


निर्माण की प्रगति

अब तक बन चुके हैं 80 फ्लोर: वर्तमान में, जेद्दा टावर में लगभग 80 मंजिलों का निर्माण पूरा हो चुका है। निर्माण कार्य तेजी से आगे बढ़ रहा है और इसे इंजीनियरिंग का एक अद्भुत नमूना माना जा रहा है। प्रारंभ में योजना थी कि यह इमारत 2020 तक पूरी हो जाएगी, लेकिन विभिन्न कारणों से इसमें देरी हुई।


भ्रष्टाचार के कारण रुकावट

भ्रष्टाचार मामले के कारण रुका था प्रोजेक्ट: जेद्दा टावर की घोषणा 2011 में की गई थी। प्रारंभिक वर्षों में निर्माण तेजी से हुआ और लगभग 63 मंजिलें भी बन गई थीं। लेकिन बाद में भ्रष्टाचार से जुड़े मामलों और वित्तीय बाधाओं के कारण इस प्रोजेक्ट को रोक दिया गया। कई वर्षों तक यह परियोजना अधर में लटकी रही, जिसके बाद अब इसे फिर से गति मिली है।


जेद्दा टावर की विशेषताएँ

जेद्दा टावर में क्या-क्या होगा खास: जेद्दा टावर को केवल एक इमारत नहीं, बल्कि एक मल्टी-यूज स्काईस्क्रेपर के रूप में डिजाइन किया गया है। इसमें अत्याधुनिक ऑफिस स्पेस, लग्जरी होटल, और हाई-एंड रेजिडेंशियल अपार्टमेंट शामिल होंगे। इसके अलावा, इतनी ऊंचाई तक आने-जाने के लिए अत्यंत तेज गति वाली लिफ्ट्स लगाई जाएंगी, ताकि लोगों को किसी तरह की असुविधा न हो।


सऊदी अरब की नई पहचान

सऊदी अरब की वैश्विक पहचान को मिलेगी नई ऊंचाई: जेद्दा टावर न केवल ऊंचाई के रिकॉर्ड तोड़ेगा, बल्कि यह सऊदी अरब को वैश्विक स्तर पर आधुनिकता, तकनीक और नवाचार के केंद्र के रूप में भी स्थापित करेगा। विजन 2030 के तहत यह परियोजना देश की बदलती तस्वीर और भविष्य की महत्वाकांक्षाओं का मजबूत प्रतीक बनकर उभरेगी।