बेरूत में इजरायल की एयरस्ट्राइक: हिज़बुल्ला के प्रमुख कमांडर हैथम अली तबातबाई का अंत
बेरूत में इजरायल का हमला
रविवार को लेबनान की राजधानी बेरूत में एक शक्तिशाली एयरस्ट्राइक के दौरान इजरायल ने हिज़बुल्ला के वरिष्ठ सैन्य कमांडर हैथम अली तबातबाई को मार गिराया। यह हमला शहर के केंद्र में हुआ, जहां तबातबाई अपनी गतिविधियों का संचालन करता था।
नेतन्याहू के कार्यालय की पुष्टि
इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के कार्यालय ने इस हमले की पुष्टि करते हुए बताया कि इसका उद्देश्य हिज़बुल्ला के वास्तविक चीफ ऑफ स्टाफ को निशाना बनाना था, जो संगठन की सैन्य रणनीतियों और हथियारों की आपूर्ति पर नजर रखता था। रिपोर्टों के अनुसार, तबातबाई को हिज़बुल्ला में महासचिव नईम कासिम के बाद दूसरी सबसे प्रभावशाली व्यक्ति माना जाता था। इजरायल पिछले एक दशक से उसे खत्म करने की कोशिश कर रहा था और रविवार को वह अपने इस मिशन में सफल रहा।
तबातबाई की पृष्ठभूमि
तबातबाई की पृष्ठभूमि भी उसकी संगठन में अहमियत को दर्शाती है। 1968 में बेरूत में जन्मे इस कमांडर की मां दक्षिण लेबनान से थीं और पिता ईरानी थे। हिज़बुल्ला में शामिल होने के बाद उसने तेजी से रैंक हासिल की। अमेरिका ने 2016 में उसे अपनी मोस्ट वांटेड आतंकवादी सूची में शामिल किया और 2018 में उसके बारे में जानकारी देने पर 50 लाख डॉलर का इनाम घोषित किया।
राडवान फोर्स का नेतृत्व
तबातबाई हिज़बुल्ला की कुख्यात 'राडवान फोर्स' का नेतृत्व करता था, जो इजरायल के खिलाफ हमलों की योजना बनाने और उन्हें लागू करने के लिए जानी जाती है। अमेरिकी विदेश विभाग के अनुसार, उसने सीरिया और यमन में भी हिज़बुल्ला के विशेष अभियानों का संचालन किया। 2015 में, इजरायल ने उसे दक्षिणी सीरिया में निशाना बनाने की कोशिश की थी, लेकिन उस हमले में जिहाद मुगनिया मारा गया था, जो हिज़बुल्ला नेता इमाद मुगनिया का बेटा था।
तबातबाई की संगठन में भूमिका
संगठन के भीतर तबातबाई की भूमिका समय के साथ बढ़ती गई। वह नसर, अजीज और बद्र यूनिट्स की कमान संभालता था, जो सैदा से लेकर दक्षिणी सीमा तक सक्रिय थीं। माना जाता है कि वह ईरान समर्थित मिलिशियाओं के साथ समन्वय करता था और गोलान हाइट्स क्षेत्र में हिज़बुल्ला के सैन्य ढांचे को मजबूत करने में भी शामिल था।
हमले की तीव्रता
बेरूत में हुए हमले की तीव्रता का अंदाज़ा इसी बात से लगाया जा सकता है कि विस्फोट से एक रिहायशी इमारत का बड़ा हिस्सा ध्वस्त हो गया। लेबनान के स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार, इस हमले में पांच लोगों की मौत हुई, जबकि 25 से अधिक लोग घायल हुए। हिज़बुल्ला सांसद अली अम्मार ने दावा किया कि हमला पूरी तरह नागरिक क्षेत्र पर किया गया, जहां किसी प्रकार की सैन्य गतिविधि नहीं थी।
