यूएई में असामान्य बारिश से बाढ़ की स्थिति, प्रशासन ने जारी की चेतावनियाँ
यूएई में बारिश का संकट
नई दिल्ली: संयुक्त अरब अमीरात, जिसे आमतौर पर एक सूखा और रेगिस्तानी क्षेत्र माना जाता है, हाल ही में असामान्य बारिश और बाढ़ का सामना कर रहा है। दुबई और अबू धाबी जैसे क्षेत्रों में हुई तेज बारिश ने सड़कों को जलमग्न कर दिया है, जिससे सामान्य जीवन प्रभावित हुआ है।
यह पहली बार नहीं है जब यूएई में ऐसी स्थिति उत्पन्न हुई है। पिछले वर्ष भी इसी तरह की बारिश ने देश को चौंका दिया था। लगातार बढ़ती इस प्रकार की घटनाएँ जलवायु परिवर्तन और शहरी बुनियादी ढांचे की तैयारी पर सवाल उठाती हैं।
यूएई में क्या हुआ?
गुरुवार की रात को दुबई में बारिश शुरू हुई, जो शुक्रवार की सुबह तक जारी रही। इसके बाद अबू धाबी में भी भारी बारिश हुई, जिससे कई निचले क्षेत्रों में जलभराव हो गया। उत्तरी अमीरात में तेज बहाव के कारण घाटियों में पानी भर गया, जिसे खतरनाक माना गया। प्रशासन ने लोगों से ऐसे क्षेत्रों से दूर रहने की सलाह दी है।
सरकार की चेतावनियाँ और पाबंदियाँ
स्थिति को देखते हुए दुबई सरकार ने सरकारी कर्मचारियों को घर से काम करने का निर्देश दिया है, जबकि निजी कंपनियों को भी यही सलाह दी गई है। अबू धाबी में दोपहर तक लोगों से घर में रहने की अपील की गई। सुरक्षा के लिए समुद्र तट, पार्क और पर्यटन स्थल अस्थायी रूप से बंद कर दिए गए हैं, ताकि जनहानि से बचा जा सके।
रेगिस्तान में बारिश का कारण
विशेषज्ञों का कहना है कि खाड़ी देशों में अब कम समय में अत्यधिक बारिश की घटनाएँ बढ़ रही हैं। यूएई का बुनियादी ढांचा सूखे मौसम को ध्यान में रखकर बनाया गया है, जिससे अचानक भारी बारिश में जल निकासी व्यवस्था प्रभावित होती है। अप्रैल 2024 की बाढ़ ने पहले ही इस कमजोरी को उजागर किया था, और अब यह समस्या और गंभीर हो गई है।
प्रशासन की तैयारी और प्रभाव
दुबई नगर निगम ने 24 घंटे की आपात सेवा सक्रिय कर दी है। विशेष टीमें और उपकरण तैनात किए गए हैं। बारिश के कारण उड़ानों पर भी असर पड़ा है। इंडिगो सहित कई एयरलाइंस ने यात्रियों को संभावित देरी की चेतावनी दी है। कई लोगों को एयरपोर्ट पहुंचने में कठिनाइयों का सामना करना पड़ा, जबकि बीमा कंपनियों ने वाहन सुरक्षा को लेकर अलर्ट जारी किया है।
यूएई से बाहर का असर
इस मौसम का प्रभाव केवल यूएई तक सीमित नहीं रहा। कतर की राजधानी दोहा में भारी बारिश और बिजली गिरने की आशंका के कारण फीफा अरब कप का एक प्लेऑफ मैच रद्द करना पड़ा। यह दर्शाता है कि पश्चिम एशिया में मौसम का मिजाज तेजी से बदल रहा है। विशेषज्ञों का मानना है कि अब जलवायु-सहिष्णु शहरी ढांचे पर गंभीरता से काम करने की आवश्यकता है, अन्यथा ऐसे हालात बार-बार सामने आएंगे।
