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ट्रेन की चेन खींचना: जानें इसके नियम और सजा

भारतीय रेलवे में यात्रा करने वाले यात्रियों के लिए चेन पुलिंग के नियमों की जानकारी आवश्यक है। यह जानना जरूरी है कि बिना वजह चेन खींचना एक कानूनी अपराध है, जिसके लिए सजा का प्रावधान है। इस लेख में हम जानेंगे कि चेन खींचने की सही परिस्थितियाँ क्या हैं, इसके दुरुपयोग के परिणाम और रेलवे द्वारा उठाए गए कदम। जानें कि आपात स्थिति में चेन खींचने का सही तरीका क्या है और इसे मजाक में न लें।
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ट्रेन की चेन खींचना: जानें इसके नियम और सजा

भारतीय रेलवे में चेन पुलिंग के नियम


हर दिन लाखों यात्री भारतीय रेलवे की ट्रेनों में यात्रा करते हैं। लेकिन कई लोगों को रेलवे के महत्वपूर्ण नियमों की जानकारी नहीं होती। आपने देखा होगा कि कभी-कभी कोई यात्री अचानक चेन खींच देता है, जिससे ट्रेन रुक जाती है। कुछ लोग इसे मजाक या आराम के लिए करते हैं, जबकि कुछ वास्तविक आपात स्थिति में ऐसा करते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि बिना कारण ट्रेन की चेन खींचना कानूनी अपराध है और इसके लिए आपको जेल की सजा हो सकती है?


भारतीय रेलवे ने यात्रियों की सुरक्षा और आपात स्थितियों को ध्यान में रखते हुए चेन पुलिंग की सुविधा प्रदान की है। लेकिन इसका दुरुपयोग करने वालों के लिए कड़ी सजा का प्रावधान भी है।


चेन पुलिंग कब करें और पहचान कैसे होती है?

रेलवे द्वारा चेन पुलिंग की सुविधा केवल आपात स्थितियों के लिए है। यदि किसी यात्री की अचानक तबीयत खराब हो जाए, कोई बच्चा या बुजुर्ग स्टेशन पर छूट जाए, या किसी अन्य खतरे की स्थिति उत्पन्न हो, तो चेन खींची जा सकती है। इन परिस्थितियों में ट्रेन को रोकना उचित माना जाता है और कोई कार्रवाई नहीं होती।


चेन खींचने पर ट्रेन के संबंधित कोच में लगे वाल्व से प्रेशर लीक की आवाज आती है, जिससे ट्रेन के ड्राइवर को तुरंत सूचना मिल जाती है। इसके बाद ट्रेन रोकी जाती है और रेलवे पुलिस उस कोच में जाकर जांच करती है कि चेन क्यों खींची गई। कोच के वाल्व के घूमने से यह तुरंत पता चल जाता है कि किस डिब्बे से चेन खींची गई है। कई बार CCTV कैमरों की मदद से भी चेन खींचने वाले की पहचान की जाती है।


रेल अधिनियम और सजा का प्रावधान

भारतीय रेलवे अधिनियम 1989 की धारा 141 के तहत बिना वजह ट्रेन की चेन खींचना एक दंडनीय अपराध है। इस कानून के अनुसार, यदि किसी व्यक्ति ने बिना उचित कारण के ट्रेन की चेन खींची, तो उसके खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जा सकती है।


इस अपराध के लिए अधिकतम 1 वर्ष की जेल या 1000 रुपये तक का जुर्माना या दोनों सजा एक साथ दी जा सकती है। इसका मतलब है कि यदि आपने बिना वजह ट्रेन की चेन खींची, तो आपको जेल की सजा और आर्थिक नुकसान दोनों का सामना करना पड़ सकता है।


चेन पुलिंग का मजाक न बनाएं

ट्रेन की चेन पुलिंग एक गंभीर सुरक्षा व्यवस्था का हिस्सा है, जिसका उपयोग केवल आपात स्थिति में किया जाना चाहिए। लेकिन कई बार लोग इसे मजाक, जल्दी उतरने या अन्य व्यक्तिगत कारणों से खींचते हैं। यह न केवल रेलवे की व्यवस्था में बाधा डालता है, बल्कि हजारों यात्रियों को भी असुविधा में डालता है।


रेलवे के अनुसार, एक बार ट्रेन के अचानक रुकने से अन्य ट्रेनों का टाइम टेबल भी बिगड़ जाता है, जिससे नेटवर्क पर अनावश्यक दबाव पड़ता है। इसके अलावा, इमरजेंसी के अलावा अन्य किसी कारण से ट्रेन को रोकना कई बार दुर्घटनाओं का कारण भी बन सकता है।


इसलिए, यदि आप भारतीय रेलवे की ट्रेनों में यात्रा करते हैं, तो इस नियम का ध्यान रखें। ट्रेन की चेन खींचें केवल तब जब कोई वास्तविक आपात स्थिति हो। अन्यथा, आप कानून के शिकंजे में फंस सकते हैं।